बुरहानपुर। बुरहानपुर शहर का कोई ऐसा क्षेत्र नहीं है, जहां की सड़कों और गलियों पर आवारा कुत्तों का आतंक न हो। बुरहानपुर शहर में यह आलम है कि दिन में भी लोग अकेले घर से बाहर निकलते हुए डरते हैं। यह आवारा कुत्ते राह चलते लोगों को काटने को पीछे दौड़ते हैं और दो पहिया वाहनों के पीछे भौंकते हुए दौड़ने से कई लोग सड़क पर हादसे का शिकार हो चुके हैं। वही कई पशुओं को अपना शिकार भी बन चुके हैं । शहर में आवारा कुत्तों की संख्या में एकाएक बढ़ोतरी हो रही है, आवारा कुत्तों का आतंक दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है। नगर निगम की ओर से आवारा कुत्तों को पकड़ने का कोई ठोस कदम नही उठा रही है। दाउदपुरा वार्ड के निवासियों ने बताया कि मोहल्ले में आवारा कुत्तों की भरमार है। इसके चलते बच्चों को स्कूल जाने, खेलने और कहीं भेजने में भी डर लगता है। रात्रि के समय तो बहूत बुरा हाल है। रात्रि के जैसे ही 9:00 बजाते हैं आवारा कुत्तों का झुंड का झुंड मोहल्ले के हर गली कुछो में घूमते दिखाई देते हैं। जिस वजह से मोहल्ले में दहशत का माहौल है।
शहर में लगातार आवारा कुत्तों की संख्या बढ़ रही।
आवारा कुत्तों की संख्या बढ़ जाने से शहर के लोगों में जगह-जगह भय का माहौल बना हुआ है। दाउदपुरा, बुधवारा रोड, सिंधीपुरा गेट से बुधवारा चौराहा तक,वही गणपति नाका, सेंटेरेसा स्कूल के पास का क्षेत्र ,बस स्टैंड, गांधी चौक, रेलवे रोड सहित गलियों में भारी संख्या में आवारा कुत्ते घूमते देखे जा सकते हैं। ज्यादातर या आवारा कुत्ते रात्रि के समय से लेकर सुबह के 9:00 बजे तक रोड और गलियों में घूमते नजर आते हैं जिसकी वजह से सुबह के वक्त स्कूल जा रहे हो छात्र-छात्राओं को डर भी लगता है कई बार तो विद्यार्थियों पर इन आवारा कुत्ते काटने तक दौड़े हैं जिसकी वजह से स्कूल जा रहे छात्र-छात्राओं के दिलों में भय का माहौल छाया हुआ है
दाऊदपुरा,बुधवारा रोड क्षेत्र में भारी संख्या में आवारा कुत्ते घूमते हुए दिखाई देते हैं। माता पिता अपने बच्चों को अकेला स्कूल भेजने और बाहर खेलने में कतराते हैं। प्रशासन को जल्द स्ट्रे डाॅग्स की समस्या से निजात दिलवानी चाहिए, नहीं तो इन आवारा कुत्तों झुंड के काटने से किसी की जान भी जा सकती है। प्रशासन को इनकी बढ़ती संख्या रोकने के लिए और इनके आतंक से बचाने के लिए जल्द अभियान चलाना चाहिए।-जावीद सिद्दीक़ी स्थानीय निवासी